सेना को अफसर देने में यूपी नंबर एक, उत्तराखंड का दबदबा भी कायम
मातृभूमि की रक्षा के लिए अपना सर्वस्व न्योछावर करना देवभूमि की युवाओं की पुरानी परंपरा रही है। शनिवार को होने वाली भारतीय सैन्य अकादमी (आईएमए) की पासिंग आउट परेड में अंतिम पग भरकर उत्तर प्रदेश के 51, हरियाणा के 30 और उत्तराखंड के 29 कैडेट्स सेना में अफसर बन जाएंगे।
उत्तराखंड के युवाओं में देशभक्ति की भावना कूट-कूटकर भरी है। आईएमए से सैन्य प्रशिक्षण प्राप्त कर पासआउट होने वाले जेंटलमैन कैडेट्स की संख्या इसकी तस्दीक करती है। जनसंख्या घनत्व के हिसाब से देखें तो देश को सबसे अधिक जांबाज देने वाले राज्यों में उत्तराखंड शुमार है।
आईएमए में हर साल दो बार जून और दिसंबर में आयोजित होने वाली पासिंग आउट परेड में इसकी झलक दिखती है। पिछले एक दशक के दौरान शायद ही ऐसी कोई परेड हो, जिसमें कदमताल करने वाले युवाओं में उत्तराखंडियों की तादाद अधिक न रही हो। पड़ोसी राज्य उत्तर प्रदेश के कैडेट्स की संख्या भले ही सबसे अधिक है, मगर इसकी तुलना वहां की आबादी के हिसाब से करें तो सेना को जांबाज देने में इस बार भी उत्तराखंड ही अव्वल है। राजस्थान, महाराष्ट्र, पंजाब, बिहार जैसे बड़े राज्य भी उत्तराखंड से बहुत पीछे हैं।