प्रदेश में बेरोजगारों का शिक्षक बनने का सपना टूटा, आयोग ने नहीं दी आयु सीमा में छूट

प्रदेश में बेरोजगारों का शिक्षक बनने का सपना टूटा, आयोग ने नहीं दी आयु सीमा में छूट

उत्तराखंड में बेरोजगारों का शिक्षक बनने का सपना टूट गया है। उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग द्वारा सहायक अध्यापक एलटी के 1,544 पदों के लिए हुई भर्ती में कई अभ्यर्थियों को आयु सीमा में छूट नहीं मिली, जबकि शासन ने परीक्षा से ठीक एक दिन पहले ही आयु छूट का आदेश जारी किया था।

आयु सीमा में छूट का आदेश, फिर भी राहत नहीं मिली

शिक्षक भर्ती परीक्षा 18 अगस्त 2024 को हुई थी। शासन द्वारा 17 अगस्त 2024 को आयोग को आदेश भेजा गया था कि वर्ष 2020 की भर्ती में जिन अभ्यर्थियों ने आवेदन किया था, लेकिन इस भर्ती में वे आयु सीमा के कारण अर्ह नहीं हो पाए, उन्हें आयु सीमा में छूट दी जाए। हालांकि, आयोग के सचिव सुरेंद्र रावत ने कहा कि परीक्षा के लिए प्रवेश पत्र जारी होने के बाद इस तरह के आदेश पर अमल करना संभव नहीं था।

भर्ती प्रक्रिया में देरी से अभ्यर्थियों की आयु सीमा पार

यह भर्ती प्रक्रिया 2020 में शुरू हुई थी, जिसमें कला विषय के बीएड अभ्यर्थियों के लिए आवेदन मांगे गए थे। लेकिन बाद में कला विषय के नॉन-बीएड अभ्यर्थियों को भी शामिल कर लिया गया। परीक्षा 2021 में आयोजित की गई थी, लेकिन कुछ बीएड अभ्यर्थियों द्वारा कोर्ट जाने के बाद यह भर्ती रद्द कर दी गई। फिर चार साल बाद, 2024 में, जब पुनः भर्ती प्रक्रिया शुरू हुई, तब तक कई अभ्यर्थियों की अधिकतम आयु सीमा पार हो चुकी थी।

आयोग की सफाई और अभ्यर्थियों की नाराजगी

आयोग का कहना है कि परीक्षा के लिए प्रवेश पत्र जारी होने के बाद आयु सीमा में छूट का आदेश लागू करना असंभव था। आयोग के सचिव सुरेंद्र सिंह रावत के अनुसार, सरकार से स्पष्ट निर्देश न मिलने के कारण कई योग्य अभ्यर्थियों को इस भर्ती में मौका नहीं मिल पाया।

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