उत्तराखंड: ग्रामीण समृद्धि और महिला सशक्तिकरण की दिशा में सहकारिता आंदोलन को नई गति — मुख्यमंत्री धामी

उत्तराखंड: ग्रामीण समृद्धि और महिला सशक्तिकरण की दिशा में सहकारिता आंदोलन को नई गति — मुख्यमंत्री धामी

श्रीनगर (पौड़ी गढ़वाल) — मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने सोमवार को श्रीनगर के आवास विकास मैदान में नौ दिवसीय सहकारिता मेले का शुभारंभ किया। इस दौरान उन्होंने कहा कि सहकारिता आंदोलन उत्तराखंड में ग्रामीण विकास, महिला सशक्तिकरण और आर्थिक आत्मनिर्भरता का मजबूत आधार बन रहा है।

मुख्यमंत्री ने विभिन्न स्व सहायता समूहों (SHG), किसानों और सहकारी समितियों के स्टॉलों का निरीक्षण किया और कहा कि सहकारिता समाज को जोड़ने और आत्मनिर्भर बनाने का माध्यम है। उन्होंने बताया कि राज्य की 671 सहकारी समितियों का कंप्यूटरीकरण पूरा हो चुका है, जबकि 3,800 से अधिक समितियों का डेटा राष्ट्रीय सहकारिता पोर्टल पर अपलोड किया गया है।

धामी ने कहा कि मडुआ का न्यूनतम समर्थन मूल्य ₹48.86 प्रति किलोग्राम कर दिया गया है। किसानों को ₹3 लाख तक और महिला स्व सहायता समूहों को ₹5 लाख तक का ब्याज मुक्त ऋण दिया जा रहा है। प्रदेश के सहकारी बैंकों में जमा राशि ₹16,000 करोड़ तक पहुँच चुकी है।

महिला सशक्तिकरण पर बोलते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि “लखपति दीदी” अभियान महिलाओं की आर्थिक स्वतंत्रता का प्रतीक बन गया है। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड समान नागरिक संहिता (UCC) लागू करने वाला पहला राज्य है और नकल विरोधी कानून से 100 से अधिक आरोपियों को जेल भेजा गया है।

सहकारिता मंत्री धन सिंह रावत ने बताया कि वर्तमान में 31 लाख लोग सहकारिता से जुड़े हैं और लक्ष्य 50 लाख तक पहुँचाने का है। उन्होंने कहा कि श्रीनगर मेले में अब तक ₹1 करोड़ का कारोबार हुआ है।

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कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ने महिला समूहों को ₹5-5 लाख और दो समितियों को ₹4-4 लाख के चेक वितरित किए। इस अवसर पर विधायक राजकुमार पोरी, जिलाधिकारी स्वाती एस. भदौरिया और अन्य अधिकारी उपस्थित रहे।

Saurabh Negi

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