सीयूईटी से दाखिलों की अनिवार्यता से मौलिक अधिकारों का हनन, कुलपति के बयान का विरोध
गढ़वाल विश्वविद्यालय की कुलपति प्रो. अन्नपूर्णा नौटियाल के उस बयान पर एसोसिएशन ऑफ सेल्फ फाइनेंस्ड इंस्टीट्यूट ने विरोध जताया है, जिसमें उन्होंने कहा है कि शिक्षा मंत्रालय और यूजीसी ने 12वीं के अंकों की मेरिट के आधार पर दाखिलों से इन्कार कर दिया है। एसोसिएशन ने सीयूईटी से दाखिलों की अनिवार्यता को मौलिक अधिकारों का हनन बताया है। एसोसिएशन के अध्यक्ष डॉ. सुनील अग्रवाल ने कहा कि छात्रों को सीयूईटी की वजह से दाखिलों से वंचित नहीं किया जा सकता है। सीयूईटी के संबंध में 28 अगस्त को ही दिल्ली हाईकोर्ट में दिल्ली यूनिवर्सिटी के एलएलबी प्रवेश की एक अधिसूचना पर जनहित याचिका पर सुनवाई हुई है।