वित्त विभाग ने दिया एक लाख शिक्षक-कर्मियों को झटका, यात्रा अवकाश के आदेश पर रोक

वित्त विभाग ने दिया एक लाख शिक्षक-कर्मियों को झटका, यात्रा अवकाश के आदेश पर रोक

शिक्षा विभाग के करीब एक लाख शिक्षकों और कर्मियों को साल में एक बार यात्रा अवकाश की सुविधा नहीं मिलेगी। वित्त विभाग ने इस आदेश पर रोक लगाकर जोर का झटका दे दिया है। पिछले महीने ही शिक्षा महानिदेशक ने यात्रा अवकाश बहाल करने का आदेश जारी किया था। वित्त सचिव दिलीप जावलकर की अध्यक्षता में हुई बैठक में कहा गया कि यात्रा अवधि अवकाश की व्यवस्था 18 सितंबर 2020 को समाप्त की जा चुकी है। शिक्षा महानिदेशक के यात्रा अवकाश मंजूर करने संबंधी आदेश को लौटाया जाए।

प्रदेश के शिक्षक और कर्मचारी पिछले काफी समय से यात्रा अवकाश देने की मांग कर रहे थे। उनका कहना था कि उच्च शिक्षा विभाग में शिक्षकों को इसका लाभ दिया जा रहा, जबकि बेसिक, जूनियर हाईस्कूल और माध्यमिक शिक्षा से जुड़े शिक्षकों और कर्मचारियों को इससे वंचित किया गया है। उन्हें यात्रा अवधि अवकाश दिए जाने की पूर्व की व्यवस्था को बहाल किया जाए।

पहले की तरह साल में दिया जाएगा एक बार यात्रा अवकाश
राजकीय शिक्षक संघ की चार अगस्त 2023 को शिक्षा मंत्री डॉ. धन सिंह रावत की अध्यक्षता में हुई बैठक में शिक्षकों और कर्मियों को यात्रा अवकाश देने पर सहमति बनी थी। बैठक में यात्रा अवकाश पर सहमति बनने के बाद शिक्षा महानिदेशक बंशीधर तिवारी ने चार अगस्त 2023 को आदेश जारी किया कि सभी शिक्षकों और कर्मचारियों की पहले की तरह साल में एक बार यात्रा अवकाश दिया जाएगा।

आदेश में कहा गया कि इस संबंध में शासन से अगला निर्देश प्राप्त होने तक मंजूर किया गया है, लेकिन वित्त विभाग ने इस आदेश पर रोक लगा दी है। वित्त सचिव ने इस संबंध में 13 सितंबर को बैठक की। बैठक का कार्यवृत्त जारी हो गया है। इसमें स्पष्ट कहा गया कि राज्य सरकार के कर्मियों के वेतन भत्ते आदि के साथ ही अवकाश आदि को मंजूर करने का अधिकार शासन के वित्त विभाग का है।

वित्त विभाग के 18 सितंबर 2020 के शासनादेश में यात्रा अवधि अवकाश की व्यवस्था को समाप्त किया जा चुका है। बैठक में शिक्षा महानिदेशक के आदेश को वापस लौटाने के आदेश दिए गए हैं।

admin

Leave a Reply

Share